Mughal Harem:सुल्तानों को खुश करने के लिए रखैले करती थी ये काम,बदले मे मिलती थी सैलरी
हरम मे महिलाओं को रखा जाता था, जहां केवल सम्राट आते-जाते थे। हरम में महिलाओं की देखभाल किन्नरो द्वारा की जाती थी। जहाँगरी के हरम में 1,000 महिलाएँ थीं। इन महिलाओं के रखवाले किन्नरो के हवाले थी , जिन्हें हर महीने तनख्वाह दी जाती थी।
Mughal Harem: भारत में जब भी किसी साम्राज्य का जिक्र होता है तो सबसे पहला नाम मुगल बादशाह का आता है। सभी मुगल बादशाहों ने जनता के लिए विकास कार्य तो किये ही, विशाल इमारतें भी बनवाईं, जो आज भी प्रसिद्ध हैं।
Mughal Harem
फिर भी मुगल काल के कुछ बादशाह ऐसे थे जिन्हें नफरत के प्रतीक के रूप में याद किया जाता है।गैर-मुसलमानों के लिए कुछ मुगल शासकों ने ऐसे काम किये जिन्हें आज भी विध्वंसक के रूप में याद किया जाता है।
Mughal Harem
अपने पिता अकबर की सल्तनत संभालने वाले मुगल बादशाह जहांगरी का नाम किसी से छिपा नहीं है। जहांगीर एक ऐसा शासक था जिसने हर मोर्चे पर कमजोरों के लिए काम किया, लेकिन खूबसूरत गैर-मुस्लिम महिलाओं को अपनी रखैल बनाने में कोई कसर नहीं छोड़ी।
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हरम मे महिलाओं को रखा जाता था, जहां केवल सम्राट आते-जाते थे। हरम में महिलाओं की देखभाल किन्नरो द्वारा की जाती थी। जहाँगरी के हरम में 1,000 महिलाएँ थीं। इन महिलाओं के रखवाले किन्नरो के हवाले थी , जिन्हें हर महीने तनख्वाह दी जाती थी।
Mughal Harem
एक लेखक के अनुसार मुगलों के हरम में हजारों महिलाएं होती थीं। हालाँकि, इतिहासकार राणा सफ़वी के अनुसार, मुग़ल हरम में जितनी महिलाएँ थीं। उनमें से केवल 5 प्रतिशत को ही सम्राट के साथ संभोग करने का अवसर मिला। वह अन्य दैनिक कार्य देखती थी।