Haryana Cet: हरियाणा सीईटी पर विवाद फिर, आईटीआई धारकों ने हाईकोर्ट में उठाई यह मांग
Haryana Cet:हरियाणा के कुछ आईटीआई डिप्लोमा धारकों ने पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर कर मांग की है कि ग्रुप सी पदों के लिए आईटीआई धारकों को फिर से सीईटी होना चाहिए या 5 से 10 ग्रेस अंक दिए जाने चाहिए। उच्च न्यायालय ने याचिका का निस्तारण करते हुए याचिकाकर्ताओं से चार सप्ताह के भीतर अपनी रिपोर्ट हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग (एचएसएससी) को भेजने को कहा। आयोग चार सप्ताह के भीतर इस पर फैसला करे और पत्रकारों को इसकी जानकारी दे।
याचिकाकर्ता द्वारा आयोग को सौंपी गई रिपोर्ट
उच्च न्यायालय ने कहा कि यह इस न्यायालय के पूर्वव्यापी प्रभाव से राज्य सरकार को सलाह देने के लिए नहीं था कि इन पदों के लिए उम्मीदवारों पर विचार करने के लिए कितना कट ऑफ तय किया जाना चाहिए, लेकिन याचिकाकर्ता अपनी रिपोर्ट आयोग को प्रस्तुत कर सकते हैं। ग्रुप सी सीईटी में फेल हुए आईटीआई धारकों ने याचिका में कहा है कि ग्रुप सी के पदों के लिए विज्ञापन जारी किया गया है। इसके लिए ग्रुप सी सीईटी पास करना अनिवार्य है। सामान्य वर्ग के उम्मीदवारों को 50 फीसदी अंक और आरक्षित वर्ग के उम्मीदवारों को 40 फीसदी अंक लेने थे।
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28 हजार चाहिए, 15-17 हजार पास हुए
उनका कहना है कि ग्रुप सी के लिए अधिक शैक्षणिक योग्यता वाले उम्मीदवारों ने भी सीईटी दी है। आईटीआई धारक होने के नाते उन्होंने अपनी शिक्षा की तुलना में सामान्य ज्ञान कम पढ़ा है। आईटीआई डिप्लोमा से जुड़े 6,486 पद भरे जाने हैं। इसके अलावा 1000 और पद हैं। मुख्य परीक्षा के लिए कुल पदों के चार गुना यानी 28,000 से अधिक उम्मीदवारों की आवश्यकता है, जबकि लगभग 15,000 से 17,000 आईटीआई धारक ही उत्तीर्ण हुए हैं।
याचिकाकर्ता सामान्य वर्ग और आरक्षित वर्ग में न्यूनतम अंक भी प्राप्त नहीं कर सका। यह समानता के अधिकार का हनन है। इसलिए उनकी मांग है कि या तो आईटीआई धारकों का सीईटी अलग किया जाए या फिर 5 से 10 ग्रेस मार्क्स दिए जाएं।