Delhi Dehradun Expressway:मोदी सरकार बना रही है वाइल्ड लाइफ कॉरिडोर, ऊपर से गुजरेगे वाहन और नीचे होंगे शेर-चीते और हाथी
एशिया का सबसे लंबा कॉरिडोर अब लगभग बनकर तैयार है।मोदी सरकार एशिया का सबसे बड़ा वाइल्डलाइफ कॉरिडोर बना रही है. घने जंगलों के ऊपर से गुजरते इस एक्सप्रेस-वे से नीचे देखने पर यात्रियों को घने जंगल के जंगली जानवर नजर आएंगे।
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Delhi Dehradun Expressway:अक्सर हमने सुना या देखा होगा कि रोड लाइन और रेल लाइन दोनों एक साथ तैयार की जाती हैं। कभी इन्हें एक दूसरे के ऊपर तो कभी नीचे रखा जाता है। लेकिन आपको हैरानी हो सकती है कि अब इसका इस्तेमाल वन्यजीव पर्यटकों के लिए भी होने लगा है।
Delhi Dehradun Expressway
![Delhi Dehradun Expressway](https://resize.indiatvnews.com/en/resize/newbucket/1200_-/2021/12/delhi-dehradun-economic-corridor-1638629294.jpg)
एशिया का सबसे लंबा कॉरिडोर अब लगभग बनकर तैयार है।मोदी सरकार एशिया का सबसे बड़ा वाइल्डलाइफ कॉरिडोर बना रही है. घने जंगलों के ऊपर से गुजरते इस एक्सप्रेस-वे से नीचे देखने पर यात्रियों को घने जंगल के जंगली जानवर नजर आएंगे।भारत का सड़क नेटवर्क दिन दूना और रात चौगुना बढ़ रहा है।
भारत के हर राज्य में सड़कें बेहतर से बेहतर होती जा रही हैं। आए दिन नए हाईवे प्रस्ताव पारित हो रहे हैं. अब मोदी सरकार एशिया का सबसे बड़ा वाइल्डलाइफ कॉरिडोर बना रही है. ये है दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे. निर्माण कार्य चल रहा है. इस एक्सप्रेसवे पर 12 किलोमीटर तक नीचे घना जंगल और ऊपर सड़क होगी।
Delhi Dehradun Expressway
यात्री यहां से शेर, बाघ, गुलदार, हाथी और कई अन्य जंगली जानवरों को देख सकेंगे। यह एक्सप्रेसवे एक प्रकार से चलता-फिरता चिड़ियाघर होगा। यहां वन्य जीवों की सुरक्षा का ध्यान रखा जाएगा।दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे आपको बिना संगल सफारी के गुलदार, हाथी, चीता, बाघ जैसे जानवरों को देखने का मौका देगा। इस जंगल के ऊपर से वाहन गुजरेंगे और वन्यजीव नीचे विचरण करते रहेंगे।
कॉरिडोर में जगह-जगह अंडरपास बनाए गए हैं।एक्सप्रेसवे का निर्माण बहुत तेजी से चल रहा है। यह 6 लेन का एक्सप्रेसवे होगा. कुल 571 पिलर का निर्माण होना है, जिनमें से 450 का काम पूरा हो चुका है। इन खंभों के बीच की दूरी 21 मीटर है। एक्सप्रेसवे में वन्यजीव गलियारा 12 किमी का होगा।
Delhi Dehradun Expressway
राजाजी राष्ट्रीय उद्यान से सटा गलियारा, जानवरों की मुक्त आवाजाही की अनुमति देगा। वन्यजीव गलियारा मोहंड से शुरू होकर दातकाली मंदिर तक जाएगा।पशु-वाहन दुर्घटनाओं को कम करने के लिए गणेशपुर-देहरादून खंड में पशु सड़कों का भी निर्माण किया गया है।
इस गलियारे पर 200 मीटर की लंबाई के साथ दो हाथी अंडरपास भी बनाए जा रहे हैं। अन्य जानवरों के लिए छह अंडरपास बनाए जा रहे हैं। इसके अलावा, देहरादून में दत्त काली मंदिर के पास 340 मीटर लंबी सुरंग वन्यजीवों पर वाहन यातायात के प्रभाव को कम करने में मदद करेगी।
यह वाइल्डलाइफ कॉरिडोर भारत में बन रहा है। दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे पर स्थित कॉरिडोर की विशेषता यह है कि इसके ऊपर से वाहन गुजरेंगे ओर नीचे अन्य जानवर जैसे हाथी आदि घूमने के लिए स्वतंत्र होंगे। ताकि लोग एक्सप्रेस वे से गुजरते हुए नजारे का आनंद उठा सकें।भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) के अधिकारियों के अनुसार, उत्तराखंड में गलियारा राजाजी राष्ट्रीय उद्यान के करीब है, जिसकी कुल लंबाई 12 किलोमीटर होगी